ATM की तरह है गेंदा फूल की खेती.
रिपोर्ट- बिनोद सोनी….
रांचीः गेंदा फूल की खेती एटीएम की तरह है, जब चाहें तब बाजार में बेच कर नगदा राशि मील जाता है, फिर उससे अपने जरुरत का काम कर लेते हैं। ये कहना है ओरमांझी प्रखंड के जीराबार गांव की विद्यावती देवी का।
पिछले पांच वर्षों से विद्यावती कर रही है गेंदा फूल की खेतीः
दरअसल विद्यापती देवी पिछले पांच वर्षों से गेंदा फूल की खेती कर रही है। विद्यावती कहती है कि जब से मैं अपने गांव में गेंदा फूल की खेती कर रही हूं, तब से गांव के फिजां में गेंदा फूलों की खुशबू तो चारो ओर फैल ही रही है, मेरे घर की भी आर्थिक स्थिति काफी सुदृढ़ हुई है।लाल और पीले रंग के गेंदा फूल की खेती के लिए विद्यावती देवी कोलकाता से हर साल पौधे मंगाती है और उन्हें अपने खेतों में विकसित करती हैं। विद्यावती देवी की मानें तो गेंदा फूल की खेती करना बेहद ही आसान और लाभदायक होता है। गेंदा फूल की खेती को विद्यावती देवी कमाई के नजरिए से एटीएम बताती हैं। ओरमाझी प्रखंड की विद्यावती देवी उन महिला किसानों के लिए एक आदर्श बन चुकी हैं, जो गेंदा फूल की खेती करने की तैयारी कर रही है।
गेंदा फूल की खेती से विद्यावती ने बनाई अपनी अलग पहचानः
विद्यावती देवी के पति कृष्णा साहू गौरवान्वित महसूस करते हुए बताते है कि, फूल की खेती ते विद्यावती की एक अलग पहचान बनी है। गांव समाज में लोग मेरी पत्नि का उदाहरण देते हैं। फूल की खेती से मेरी पत्नी को एक अलग पहचान मिली है। फूल की डिमांड सालों भर होने की वजह से फूल की खेती करने में रिस्क भी बहुत कम होता है। स्थानीय बाजार में आसानी से बिक जाने की वजह से किसान इस ओर धीरे-धीरे प्रेरित होने लगे हैं।