6 बुजूर्ग 2 दिब्यांग और एक मरीज समेत कूल 33 ग्रामीणों पर लॉक डाउन उल्लंघन और शांति भंग करने का मामला दर्ज, ग्रामीण परेशान…

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रिपोर्ट- संजय वर्मा…

रांचीः खूंटी जिला के मुरहू थाना प्रभारी द्वारा गोड़ाटोली पंचायत स्थित मारुंगटोली गांव के कूल 33 ग्रामीणों के उपर लॉक डाउन उल्लंघन और शांति भंग करने का मामला एसडीएम कोर्ट में दर्ज करवाया है। सभी 33 ग्रामीणों को नोटिस में कहा गया है कि, सभी आरोपित लोग 1 साल तक परिशांति भंग नहीं करेंगे, इसका शपथ पत्र दायर करने के साथ 50 हजार रुपये का बांड भी दो-दो जमानतदारों के साथ जमा करें।

आरोपियों में 6 बुजूर्ग, दो दिब्यांग और एक मरीज शामिलः

जिन 33 ग्रामीणों के उपर मुरहू थाना प्रभारी ने मामला दर्ज करवाया है, उनमें से 6 बुजूर्ग है, जो बात करने के दौरान भी कांपते हैं, वहीं दो विकलांग और एक व्यक्ति कई माह से बिस्तर पर पड़ा हुआ है। न्यायालय में इनके खिलाफ भी मामला दर्ज हुआ है, ये जानकारी मिलने के बाद इनकी तबियत इतनी ज्यादा बिगड़ गई कि उन्हें अस्पताल में भर्ती करवाना पड़ा है।

चावल बांटने के नाम पर थाना प्रभारी ने बनाया था सूची, और सभी को बना दिया आरोपीः ग्रामीण

इस पूरे मामले की “ताजा खबर झारखंड” की टीम ने पड़ताल की, जहां पड़ताल के दौरान ग्रामीणों ने बताया कि 16 मई को मुरहू थाना प्रभारी गांव में पहुंचे थें, उस दौरान ग्राम प्रधान, मुखिया और वार्ड सदस्य भी मौजुद थें। ग्राम प्रधान ने सभी ग्रामीणों को गांव के मिटिंग स्थल पर जमा होने के लिए कहा, जिसके बाद सभी ग्रामीण वहां जमा हुएं। मौके पर थाना प्रभारी ने ग्रामीणों से कहा कि लॉक डाउन का पालन करना है, अफवाहों पर ध्यान नही देना है, उसी समय थाना प्रभारी ने सभी का नाम सूचिबद्ध किया। जब लोगों ने पुछा कि सर नाम क्यों लिख रहे हैं, तो उन्होंने कहा कि सभी के बीच चावल का वितरण किया जाएगा, इसलिए नाम लिख रहे हैं।

गांव में नोटिस आया, तब जानकारी हुआ कि ग्रामीणों पर केश हुआ हैः ग्राम प्रधान

ग्राम प्रधान, पीटर मुंडू ने बताया कि हमलोगों ने मीटिंग के दौरान थाना प्रभारी से गरीब, विकलांगों को राशन पानी उपलब्ध करवाने का किये थें, जिसके बाद उन्होंने सभी का नाम सूचिबद्ध किया था, लेकिन राशन पानी तो नहीं मिला, जब गांव में न्यायालय से नोटिस पहुंचा तब जानकारी हुआ कि थाना प्रभारी ने लॉक डाउन उल्लंघन और शांति भंग करने का मामला ग्रामीणों के उपर एसडीएम कोर्ट में दर्ज करवाया है। लेकिन हमलोगों को ये नही पता कि कब हम लोगों ने शांति भंग किया है।

गांव में मीटिंग हुआ था 16 अप्रैल को लेकिन दो दिन पहले, 14 अप्रैल को ही मामला दर्ज कर लिया गया थाः ग्रामीण

आरोपी ग्रामीणों ने ये भी बताया कि, थाना प्रभारी 16 अप्रैल को गांव में मीटिंग के लिए पहुंचे थें, लेकिन हमलोगों के उपर शांति भंग करने का मामला 14 अप्रैल को ही दर्ज कर लिया गया था, जो नोटिस देखने से पता चल रहा है।

गांव में शांति भंग ना हो इसलिए 107 का मामला ग्रामीणों पर दर्ज किया गया हैः थाना प्रभारी

इस मामले में हमारी टीम ने मुरहू थाना के थाना प्रभारी से भी बात की। उनका कहना है कि लॉक डाउन लागू रहने के दौरान ही मुरहू थाना क्षेत्र स्थित दूसरे गांव के चार युवक मारुंगटोली गांव के दाड़ी(पेयजल लेने का स्थल) में स्नान कर रहे थें, जिसकी जानकारी मिलने पर सभी गांव के लोग अपने घरों से बाहर निकल कर लॉक डाउन का उल्लंघन किए थें। इसलिए इन सभी पर 107 का मामला दर्ज हुआ है। वहीं जब मैनें थाना प्रभारी से पुछा कि जिन लोगों को लॉक डाउन उल्लंघन और शांति भंग करने का आरोपी बनाया गया है उनमें 6 वृद्ध, 2 विकलांग और एक मरीज भी शामिल है, क्या ये लोग शांति भंग कर सकते हैं, इस पर थाना प्रभारी महोदय का जवाब था कि 107 का केश कोई बडा मामला नही है, एक-दो बार कोर्ट में हाजरी देने भर से मामला खत्म हो जाएगा।

शांति भंग करने का आरोप झुठा, थाना प्रभारी गरीबों को परेशान कर रहे हैः ग्रामीण

थाना प्रभारी के जवाब के बावत जब ग्रामीणों से पुछा गया कि आप लोगों ने शांति भंग किया था, ये थाना प्रभारी का आरोप है। इस पर ग्रामीणों ने कहा कि ना ही हम लोगों ने लॉक डाउन का उल्लंघन किया और ना ही शांति भंग करने का काम किया था। क्योंकि जब दूसरे गांव के चार युवक उस दाड़ी के पानी को गंदा कर रहे थें, जिसका उपयोग गांव के लोग पीने के लिए करते हैं, तो उस वक्त युवकों को ऐसा करने से मना किया गया था, लेकिन युवकों ने धमकी देना शुरु कर दिया था, जिसके बाद पुलिस को फोन कर ग्रामीणों ने ही बुलाया था, और पुलिस उन युवकों को गिरफ्तार कर अपने साथ ले गई थी, उन युवकों के साथ ग्रामीणों ने मारपीट भी नही किया था। फिर किस तरह हमलोगों को ही आरोपी बनाया गया है। जब मैनें उन्हें कहा कि थाना प्रभारी ने कहा है कि एक-दो हाजरी में ही केश खत्म हो जाएगा। तो ग्रामीण ने कहा कि हमलोगों के पास खाने का पैसा नही है, तो किस तरह हमलोग इस लॉक डाउन में कोर्ट जाएंगे हाजरी देने के लिए। थाना प्रभारी जानबुझ कर हम सभी को परेशान कर रहे हैं।

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